?? भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) भारत का राष्ट्रीय अंतरिक्ष संस्थान है, इसकी स्थापना 15 अगस्त 1969 को हुई एवं इसका मुख्यालय बंगलोर में है।
?? 1962 में परमाणु ऊर्जा विभाग द्वारा अंतरिक्ष अनुसंधान के लिये एक राष्ट्रीय समिति का गठन और त्रिवेन्द्रम के समीप थुम्बा में राकेट प्रक्षेपण स्थल के विकास की दिशा में पहला प्रयास प्रारंभ।
?? भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) का मुख्य कार्य भारत के लिये अंतरिक्ष संबधी तकनीक उपलब्ध करवाना है।
?? अन्तरिक्ष कार्यक्रम के मुख्य उद्देश्यों में उपग्रहों, प्रमोचक यानों, परिज्ञापी राकेटों और भू-प्रणालियों का विकास शामिल है।
?? इसरो के वर्तमान निदेशक ए एस किरण कुमार हैं।
?? इसरो वर्तमान में ध्रुवीय उपग्रह प्रक्षेपण यान (PSLV) एवं भूस्थिर उपग्रह प्रक्षेपण यान (GSLV) की सहायता से क्रमश: कृत्रिम एवं भू-स्थायी कृत्रिम उपग्रह प्रक्षेपित करता है।
?? इसरो को शांति, निरस्त्रीकरण और विकास के लिए साल 2014 के इंदिरा गांधी पुरस्कार से सम्मानित किया गया।
?? थुंबा से (21 नवंबर, 1963) को पहले राकेट का प्रक्षेपण
?? पहले भारतीय उपग्रह आर्यभट्ट का (April 19, 1975) को प्रक्षेपण।
?? भारत और सोवियत संघ द्वारा संयुक्त अंतरिक्ष अभियान में 1984 में राकेश शर्मा आठ दिन के लिए अंतरिक्ष में रहे एवं पहले भारतीय अंतरिक्ष यात्री बने
उपग्रह प्रक्षेपण में भारतीय अन्तरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) ने 7 दिसम्बर, 2017 को अपने नवीनतम दूरसंवेदी उपग्रह रिसोर्ससैट 2ए (RESOURCESAT-2A) का सफल प्रक्षेपण किया। इससे पूर्व ब्रिटेन के कुल मिलाकर 1440 किग्रा वजन के पाँच उपग्रहों को पीएसएलवी सी-28 के द्वारा पृथ्वी की सन-सिंक्रोनस आॅर्बिट (SSO) में स्थापित करने में सफलता प्राप्त की थी। इसरो का यह अभियान पूर्णत: व्यावसायिक था तथा अब तक का सर्वाधिक वजनी अभियान भी था।
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अब तक पीएसएलवी की उड़ानें व उनके द्वारा प्रक्षेपित उपग्रह का विवरण निम्न प्रकार से है–
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पीएसएलवी की उड़ाने व उनके द्वारा प्रक्षेपित उपग्रह
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◆पीएसएलवी–डी 1 (प्रक्षेपण - 20 सितम्बर, 1993)
अभियान : आईआरएस–1 ई के प्रक्षेपण का प्रयास विफल
◆पीएसएलवी–सी 2 (प्रक्षेपण - 26 मई, 1999)
अभियान : आईआरएस–पी4 (ओशनसैट–1) के साथ जर्मनी का डीएलआर टुबसैट व दक्षिण कोरिया का किटसैट–3
◆पीएसएलवी–सी 3 (प्रक्षेपण - 22 अक्टूबर, 2001)
अभियान : प्रौद्योगिकी परीक्षण उपग्रह (TES) के साथ बेल्जियम का प्रोबा व जर्मनी का बर्ड
◆पीएसएलवी–सी 4 (प्रक्षेपण - 12 सितम्बर, 2002)
अभियान : मौसम सम्बन्धी उपग्रह मैटसैट का भूस्थैतिक कक्षा में प्रक्षेपण मैटसैट का नामकरण बाद में कल्पना–1 किया गया
◆पीएसएलवी–सी 6 (प्रक्षेपण - 5 मई, 2005)
अभियान : कार्टोसैट–1 के साथ छोटा उपग्रह हैमसैट
◆पीएसएलवी–सी 7 (प्रक्षेपण - 10 जनवरी, 2007)
अभियान : कार्टोसैट–2 के साथ 3 विदेशी उपग्रह, एसआइई–1 (Space Capsule Recovery Experiment) का भी परीक्षण
◆पीएसएलवी–सी 8 (प्रक्षेपण - 23 अप्रैल, 2007)
अभियान : इटली के 'एजाइल' के साथ 'इसरो' का छोटा एडवांस्ड एवियोनिक्स मॉड्यूल
◆पीएसएलवी–सी 10 (प्रक्षेपण - 21 जनवरी, 2008)
अभियान : इजराइल के टेकसार
◆पीएसएलवी–सी 9 (प्रक्षेपण - 28 अप्रैल, 2008)
अभियान : कार्टोसैट–2ए के साथ इंडियन मिनी सैटेलाइट (IMS–1) व 8 अन्य विदेशी नैनो सैटेलाइट
◆पीएसएलवी–सी 11 (प्रक्षेपण - 22 अक्टूबर, 2008)
अभियान : चन्द्रयान–1
◆पीएसएलवी–सी 12 (प्रक्षेपण - 20 अप्रैल, 2009)
अभियान : रिसैट–2 के साथ अनुसैट
◆पीएसएलवी–सी 14 (प्रक्षेपण - 23 सितम्बर, 2009)
अभियान : ओशनसैट–2 के साथ 6 विदेशी नैनो सैटेलाइट
◆पीएसएलवी–सी 15 (प्रक्षेपण - 12 जुलाई, 2010)
अभियान : कार्टोसैट–2बी के साथ 4 छोटे उपग्रह
◆पीएसएलवी–सी 16 (प्रक्षेपण - 20 अप्रैल, 2011)
अभियान : रिसोर्ससैट–2 के साथ दो छोटे उपग्रह एक्स सैट व यूथ सैट
◆पीएसएलवी–सी 17 (प्रक्षेपण - 15 जुलाई, 2011)
अभियान : संचार उपग्रह जीसैट–12 का भूमसस्थानिक स्थानांतरण प्रथा कक्षा में प्रक्षेपण
◆पीएसएलवी–सी 18 (प्रक्षेपण - 12 अक्टूबर, 2011)
अभियान : भारत–फ्रांस के संयुक्त मेघा ट्रॉपिक्स के साथ तीन छोटे उपग्रह वीसेलसैट (लक्जेबर्ग), जुगनू (आई.आई.टी. कानपुर) व SRM Sat (एसआरएम यूनिवर्सिटी)
◆पीएसएलवी—सी 32 (प्रक्षेपण - 10 मार्च, 2016)
अभियान : आईआरएनएसएस—1 एफ
◆पीएसएलवी—सी 33 (प्रक्षेपण - 28 अप्रैल, 2016)
अभियान : आईआरएनएसएस—1 जी
◆पीएसएलवी—सी 34 (प्रक्षेपण - 22 जून, 2016)
अभियान : मानचित्रण उपग्रह कार्टोसैट—2 सहित कुल 20 उपग्रहों का प्रक्षेपण (इनमें 17 विदेशी)
◆पीएसएलवी—सी 35 (प्रक्षेपण - 26 सितम्बर, 2016)
अभियान : मौसम उपग्रह स्कैटसैट—1 व 7 अन्य उपग्रहों का दो अलग—अलग कक्षाओं में प्रक्षेपण (इनमें पाँच विदेशी उपग्रह शामिल)
◆पीएसएलवी—सी 36 (प्रक्षेपण - 7 दिसम्बर, 2016)
अभियान : रिसोर्ससैट—2ए
इसरो ने 104 सैटेलाइट लॉन्च कर बनाया विश्व रिकॉर्ड?,
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श्रीहरिकोटा: भारतीय अंतरिक्ष एजेंसी इसरो ने आज दिनांक 15/02/2017 को एक ही रॉकेट के माध्यम से रिकॉर्ड 104 उपग्रहों का सफल प्रक्षेपण करके इतिहास रच दिया है. इन उपग्रहों में भारत का पृथ्वी पर्यवेक्षण उपग्रह भी शामिल है.
?आइए जानते हैं इस उपग्रह की ये 7 बड़ी बातें:-
??किसी अकेले मिशन के तहत लॉन्च किए गए उपग्रहों की यह अब तक की सबसे बड़ी संख्या है.
??पीएसएलवी-सी37 के जरिए लॉन्च किए गए. सबसे पहले काटरेसैट-2 श्रेणी के उपग्रह को कक्षा में प्रवेश कराया गया और इसके बाद बाकी 103 नैनो उपग्रहों को 30 मिनट में प्रवेश कराया गया.
??इस मिशन में 96 उपग्रह अमेरिका के थे. 1-1 सैटेलाइट इजराइल, कजाकिस्तान, नीदरलैंड्स, स्विट्जरलैंड और यूएई के हैं थता भारत के 3 उपग्रह शामिल है।.
??इससे पहले एक बार में सबसे ज्यादा उपग्रह प्रक्षेपित करने का श्रेय अब तक रूसी अंतरिक्ष एजेंसी के पास था. उसने एक बार में 37 उपग्रहों को प्रक्षेपित किया था.
??भारत के इसरो ने जून 2015 में एक मिशन में 23 उपग्रह प्रक्षेपित किए थे. इससे पहले, 2008 में एक बार में 10 सैटेलाइट लॉन्च किए थे.
??भारत के इस मिशन के साथ ही सैटेलाइट प्रक्षेपण इंडस्ट्री में भारत की हिस्सेदारी बढ़ रही है. मौजूदा वक़्त में यह इंडस्ट्री करीब 13 लाख करोड़ रुपये की है. इसपर अमेरिका का कब्जा है.
??इस मिशन की सबसे खास बात ये भी है कि PSLV अपनी 39th उड़ान के साथ ही दुनिया का सबसे भरोसेमंद सैटेलाइट लॉन्चर व्हीकल के तौर पर शुमार हो गया.
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